आज यूपी सीएम योगी नहीं, गोरखनाथ मठ के महंत आदित्यनाथ कहिए…
यूपी के गोरखनाथ मंदिर में दशहरे की पूजा खास होती है जिसे गोरखनाथ मठ के महंत हर साल करते हैं. योगी आदित्यनाथ हर साल ये पूजा करते रहे हैं और इस साल उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री होने के बावजूद इस विशेष महापूजा के नायक होंगे. नाथ संप्रदाय का यह सबसे बड़ा मठ दशहरे के दिन एक खास तरीके के पूजा के लिए जाना जाता है. यहां महंत के साथ शस्त्रों का पूरा प्रदर्शन होता है जो एक शोभायात्रा की शक्ल में मंदिर से निकल कर करीब डेढ़ किलो मीटर दूर मानसरोवर तक जाता है.
दशहरे की सुबह से ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इस पूजा की तैयारियों में जुट गए थे सबसे पहले पारंपरिक लिबास में मंदिर के भीतर उन्होंने पूजा की जिसमें उन्होंने महंत का लिबास पहना था. सुबह तकरीबन 9 बजे पूरे मंदिर में योगी आदित्यनाथ ने घूम-घूमकर हर देवता की पूजा की, यह पूजन भी कुछ खास रहा जिसमें
नाथ संप्रदाय के लोग सीएम योगी और अस्त्रों के साथ दिखाई दिए. सीएम योगी मंदिर दर मंदिर और देवता दर देवता पूजन करते रहे. यहां लोग हाथों में बल्लियां और तलवार के साथ चलते रहें और आगे-आगे पटाखे फोड़ते रहते हैं. यह सब एक खास परंपरा के तहत होता है जिसमें दशहरे के दिन शस्त्र पूजन के बाद मठ के महंत इसे परम्परा के तौर पर करते हैं.
सीएम योगी ने सुबह सभी मंदिरों की पूजा की गौशाला यज्ञशाला और मंदिरों की परिक्रमा की. दोपहर में सीएम योगी का आदित्यनाथ का अभिषेक हुआ और करीब शाम 4 बजे उनकी शोभायात्रा निकलेगी. भगवान राम आज ही के दिन अयोध्या लौटे थे उनका राज्याभिषेक हुआ था और उनकी शोभायात्रा निकली थी, कुछ इसी कड़ी को जोड़ते हुए सांकेतिक तौर पर गोरखनाथ मठ की यह परंपरा रही है कि हर महंत मंदिरों की परिक्रमा, महाआरती और अभिषेक के बाद शोभा यात्रा के नायक होते हैं. दशहरे के दिन मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मुख्यमंत्री के रुप में नहीं बल्कि गोरखनाथ पीठ के महंत के रूप में ही पूरे दिन दिखाई देंगे